अजय देवगन-सलमान खान की फिल्म का ये विलेन, हॉलीवुड में भी किया काम, अब बन गया है मौलाना

Arif Khan, who is Arif Khan
Image Source : INSTAGRAM आरिफ खान।

अजय देवगन की शानदार फिल्म ‘फूल और कांटे’ साल 1991 में रिलीज बुई थी। ये फिल्म दर्शक बटोरने में कामयाब रही। अजय देवगन को इस फिल्म में खूब पसंद किया और वो इसी के दम पर बॉलीवुड के नए सीरियस हीरो बनकर सामने आए। इस फिल्म में भर-भर के एक्शन सीन्स थे। फिल्म में नजर आए विलेन की खूब पिटाई भी की गई थी। अजय देवगन और मधु की जोड़ी वाली इस फिल्म के विलेन ने भी लोगों का दिल जीत लिया था। विलेन के किरदार का नाम रॉकी था। इस किरदार के साथ अजय देवगन का फाइट सीन चर्चा में रहा। अजय देवगन से ज्यादा ये फिल्म अपने मशहूर किरदार रॉकी के लिए याद की जाती है। अब रॉकी कहां हैं और क्या कर रहा है चलिए आपको बताते हैं। 

अब ऐसी है जिंदगी

रॉकी एक ऐसा खलनायक है जिसकी खूब तारीफ हुई थी। इस किरदार को अभिनेता आरिफ खान ने निभाया था। इस सफलता के बाद आरिफ ने कई फिल्मों में खलनायक की भूमिका निभाई और सलमान खान और सुनील शेट्टी जैसे सितारों के साथ स्क्रीन शेयर की। उन्होंने ‘मोहरा’ और ‘दिलजले’ जैसी फिल्मों में खलनायक की भूमिका भी निभाई। हालांकि समय के साथ आरिफ खान ने बॉलीवुड और अभिनय से दूरी बनाकर आध्यात्मिक जीवन अपना लिया और अंततः मौलाना बन गए। आज वह इतने बदल गए हैं कि शायद आप उन्हें पहचान भी न पाएं।

इन सितारों के साथ कीं फिल्में

अजय देवगन ने ‘फूल और कांटे’ से अपने अभिनय करियर की शुरुआत की, जबकि आरिफ खान ने भी इसी फिल्म से खलनायक की भूमिका निभाकर अपने करियर की शुरुआत की। उन्होंने कई बड़ी फिल्मों में काम किया, लेकिन उनका करियर उम्मीद के मुताबिक नहीं चला। आरिफ खान को अक्सर खलनायक के रूप में देखा जाता था, कुछ फिल्मों में वह नायक का सामना करते थे, जबकि अन्य में उन्हें कड़ी मार झेलनी पड़ती थी। वह सलमान खान के साथ ‘वीरगति’ में, सुनील शेट्टी के साथ ‘मोहरा’ में और एक बार फिर ‘दिलजले’ में अजय देवगन के साथ खलनायक की भूमिका में नजर आए।

हॉलीवुड में किया काम

2007 में आरिफ खान ने हॉलीवुड में भी फिल्म ‘ए माइटी हार्ट’ के साथ कदम रखा, जहां उन्होंने एक टैक्सी ड्राइवर की भूमिका निभाई। इस फिल्म में एंजेलिना जोली ने मुख्य भूमिका निभाई थी, जो पत्रकार डेनियल पर्ल की पत्नी मैरिएन पर्ल की वास्तविक जीवन की कहानी को दर्शाती है, जिसका अपहरण कर लिया गया और उसकी हत्या कर दी गई। फिल्म उद्योग में कई साल बिताने के बाद आरिफ खान ने आखिरकार शोबिज की ग्लैमरस दुनिया को छोड़ दिया और आध्यात्म की ओर रुख किया। वह तब्लीगी जमात के साथ मौलाना बन गए, अपना जीवन दूसरों को इस्लाम के बारे में सिखाने के लिए समर्पित कर दिया। 

इस वजह से छोड़ा बॉलीवुड

लहरें रेट्रो के साथ एक साक्षात्कार में आरिफ खान ने बॉलीवुड से अपने जाने का कारण साझा किया था। उन्होंने बताया कि वह बहुत बेचैन थे और अपने जीवन में शांति नहीं पा सके। अपने प्रयासों के बावजूद, उन्हें अनदेखा महसूस हुआ, उन्होंने सवाल किया कि उन्हें बड़े बैनर द्वारा भूमिकाएं क्यों नहीं दी जा रही हैं। आरिफ ने स्वीकार किया कि वह विनाशकारी आदतों और लत में पड़ गए थे, नींद और शांति पाने की कोशिश में ड्रग्स का इस्तेमाल करते थे। इंडस्ट्री में 7-8 साल बिताने के बाद, उन्होंने सब कुछ पीछे छोड़ने का फैसला किया और अल्लाह की शरण ली। 

कोरोना में सामने आया उनका ये रूप

‘दिलजले’, ‘मोहरा’, ‘वीरगति’, ‘मोहब्बत और जंग’, ‘जमीर द अवेक्निंग ऑफ अ सोल’, ‘हसीना और नागिन’, ‘अहंकार’, ‘मुस्कुराहट’ जैसी 15 फिल्मों में नजर आए। आखिरी बार उन्हें साल 2007 में आई फिल्म ‘अ माइटी हार्ट’ में देखा गया। कोरोना काल में हुए लॉकडाउन के दौरान वो पहली बार सोशल मीडिया पर वायरल हुए। लोग उन्हें मौलाना के रूप में देखकर हैरत में पड़ गए। लंबी दाढ़ी, कुर्ते और टोपी में आरिफ एक नजर में किसी को भी पहचान में नहीं आए।

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